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वॉशिंगटन अमेरिका ने पाकिस्तान में आम चुनाव से पहले मुंबई हमलों के मास्टरमाइंड हाफिज सईद के राजनीतिक दल मिल्ली मुस्लिम लीग (एमएमएल) को आतंकी संगठन घोषित कर दिया है।
अमेरिका ने एमएमएल के सात सदस्यों को भी आतंकी घोषित किया है। इसके साथ ही अमेरिका ने सोमवार को तहरीक-ए-आजादी-ए-कश्मीर टीएजेके को भी आतंकी संगठनों की सूची में डाल दिया है। डीएजेके को लश्कर-ए-तैयबा का फ्रंट माना जाता है, जो अमेरिका के मुताबिक पाकिस्तान में बिना रोक-टोक संचालित होता है। इससे एक दिन पहले ही पाकिस्तान चुनाव आयोग ने एमएमएल को राजनीतिक पार्टी के तौर पर पंजीकृत करने के लिए गृह मंत्रालय द्वारा दिया क्लियरंस सर्टिफिकेट पेश करने को कहा था। पाकिस्तान चुनाव आयोग ने पहले एमएमएल को राजनीतिक पार्टी के तौर पर पंजीकृत करने से मना कर दिया था, क्योंकि गृह मंत्रालय ने इसके प्रतिबंधित संगठनों से संबंध होने को लेकर आपत्ति जताई थी। अमेरिकी विदेश विभाग ने कहा कि इस कदम का मकसद लश्कर-ए-तैयबा को उन संसाधनों तक पहुंचने से रोकना है, जिससे वह अन्य आतंकी हमलों को अंजाम दे सके। विदेश विभाग में काउंटर टेररिज्म के कोऑर्डिनेटर नैथन सेल्स ने कहा गलती न करें : लश्कर-ए-तैयबा खुदको कुछ भी कहे, वह एक हिंसक आतंकी समूह रहेगा। अमेरिका लश्करे तैयबा को राजनीति में नहीं आने देने के सभी प्रयासों का समर्थन करेगा। इस प्रतिबंध के बाद अब अमेरिका में मौजूद लश्करे तैयबा की सभी संपत्तियों को जब्त करने का अधिकार होगा। लश्करे तैयबा पाकिस्तान में बेखौफ संचालित होता है, रैलियां करता है, फंड जुटाता है साथ ही आतंकियों को प्रशिक्षण भी देता है। अमेरिका ने 26 दिसंबर 2001 में ही लश्कर-ए-तैयबा को आतंकी संगठन घोषित किया था। इसके बाद संगठन के सरगना हाफिज को भी अमेरिका ने आतंकियों की सूची में डाला था।
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